चरनजीत चन्नी ने एस.सी पोस्ट मैट्रिक स्काॅलरशिप योजना के तहत् 100 करोड़ रूपये गलत तरीके से बांटे जाने के मामले में लवली यूनिवर्सिटी और चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी के खिलाफ एफआईआर दर्ज नही करने का फैसला लेकर एस.सी छात्रों के हितों के साथ विश्वासघात किया: डाॅ. सुखविंदर सुक्खी
तल्लण (जालंधर) : शिरोमणी अकाली दल-बहुजन समाज पार्टी के सांझा उम्मीदवार डाॅ. सुखविंदर कुमार सुक्खी ने आज कहा है कि पूर्व मुख्यमंत्री चरनजीत सिंह चन्नी ने एस.सी पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति के तहत 100 करोड़ रूपये गलत तरीके से बांटे जाने के मामले में निजी शिक्षण संस्थानों के खिलाफ एफआईआर दर्ज नही करने का फैसला लेकर अनुसूचित जाति के छात्रों के साथ धोखा किया है। शिअद-बसपा उम्मीदवार ने यहां एक जनसभा को संबोधित करते हुए चरनजीत सिंह चन्नी का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘ यह वही व्यक्ति है जो अपने पाप छिपाने के लिए मगरमच्छ के आंसू बहा रहा है, उन्होने कहा कि उसने लवली यूनिवर्सिटी, जालंधर और चंडीगढ़ विश्वविद्यालय, खरड़ सहित शैक्षणिक संस्थानों पर छात्रों का 100 करोड़ रूपये बकाया है। यह पैसा अनुसूचित जाति के छात्रों की भलाई के लिए इस्तेमाल किया जा सकता था, लेकिन चन्नी अनुसूचित जाति के छात्रों को नुकसान पहुंचाने के लिए निजी संस्थानों के साथ गुप्त सौदे का विकल्प चुना। उन्होने कहा कि इस तरह के भ्रष्ट कदमों के कारण ही पोस्ट मैट्रिक स्काॅलरशिप का लाभ उठाने वाले अनुसूचित जाति के छात्रों की कुल संख्या अकाली दल के कार्यकाल के दौरान 3 लाख थी, अब सिर्फ 1.25 लाख छात्र रह गई है। आम आदमी पार्टी को दलित विरोधी बताते हुए डाॅ. सुक्खी ने आम आदमी पार्टी की सरकार को दलित विरोधी बताते हुए कहा, ‘‘ अब भी मुख्यमंत्री भगवंत मान घोषणा कर रहे हैं कि पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के लिए पैसा जारी किया जाएगा, लेकिन पिछले एक साल के दौरान कोई पैसा जारी नही किया गया है’’। उन्होने कहा कि दलितों के लिए मुख्यमंत्री के मन में कितना सम्मान है , का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि सीएमओ ने एडवोकेट जनरल को अदालत में एक हलफनामा दायर करने का निर्देश दिया, जिसमें कहा गया कि वह कानून अधिकारियों के लिए पद आमंत्रित करते समय दलितों को कोई आरक्षण नही देना चाहते , क्योंकि ऐसे उम्मीदवार इस कार्य को करने में कोई क्षमता नही है। उन्होने कहा, ‘‘यह न केवल दलित समुदाय , बल्कि बाबा साहेब भीम राव अंबेडकर का भी घोर अपमान है, जिनकी तस्वीर यह सरकार अपने कार्योंलयों में लगाती है’’। डाॅ. सुक्खी ने कहा कि कांग्रेस और आम आदमी पार्टी दोनों ही अनुसूचित जाति समुदाय के प्रति गंभीर नही हैं और समुदाय को इस बात का अहसास होना चाहिए और शिअद-बसपा गठबंधन पर भरोसा करना चाहिए जो बाबा साहेब अंबेडकर के दर्शन में विश्वास करने के साथ साथ इनका पालन भी करता है। उन्होने बताया कि अकाली दल के कार्यकाल के दौरान आटा-दाल योजना बुढ़ापा पेंशन योजना, शगुन योजना, युवा लड़कियों के लिए साइकिल और खेल किट सहित कमजोर वर्गों को अद्धितीय सामाजिक कल्याण लाभ दिए गए । इन सभी योजनाओं को अब यां तो कम किया जा रहा हैं, यां पूरी तरह से बंद कर दी गई हैं। वरिष्ठ नेता पवन कुमार टीनू ने भी इस अवसर पर कहा कि आप तथा भाजपा दोनों अंबेडकर के दर्शन के खिलाफ हैं और भाजपा वास्तव में आरक्षण रोकना चाहती है। उन्होने यह भी उदाहरण दिया कि कैसे आप पार्टी की सरकार ने एससी आयोग की ताकत को आधा कर दिया । उन्होने कहा, ‘‘ अब इस दलित विरोधी सरकार को सबक सिखाने का समय आ गया है’’।